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Tuesday, November 4, 2014

उदासी / केशव तिवारी

किस किस को बताता
अपनी उदासी का सबब

किस किस से पूछता एक ऐसी उदासी
जिसमें बैचेनी न हो
हर तरफ फैली

एक मित्र ने कहा -- कामरेड
बिना वजह की उदासी भी
एक रूमान है
मैं उसे देखता रहा
वजहों पर बहस क्या करता
बेवजह कुछ करने में भी सुकून है उसे क्या बताता

ऊँट-सी तनी गर्दन लिए
कोर्इ कब तक रह सकता है
वैसे बगुलों-सी झुकी गर्दनें
देख कर भी डर जाता हूँ मै ।

केशव तिवारी

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