जिंदगी को जुबान दे देंगे
धडकनों की कमान दे देंगे
हम तो मालिक हैं अपनी मर्ज़ी के
जी में आया तो जान दे देंगे
रखते हैं वो असर दुआओं में
हौसले को उड़ान दे देंगे
जो है सहमी पड़ी समंदर में
उस लहर को उफान दे देंगे
जिनको ज़र्रा नही मयस्सर है
उनको पूरा जहान दे देंगे
करके मस्जिद में आरती-पूजा
मंदिरों से अजान दे देंगे
मौत आती 'किरण' है आ जाए
तेरे हक में बयान दे देंगे
Monday, October 20, 2014
जिंदगी को जुबान दे देंगे / कविता किरण
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